Tuesday, July 15, 2025

साहित्य, कला, संस्कृतिधर्मी सूची

कला-साहित्य से जुड़े छत्तीसगढ़ के महानुभावों की एकत्रित जानकारी-सूची की तलाश होती रहती है। मेरी जानकारी में ऐसे कुछ संग्रह हैं, जिनका परिचय यहां है- 

साहित्य-संस्कृति-निदर्शनी, संदर्भ छत्तीसगढ़‘ का प्रकाशन, पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी सृजनपीठ, संस्कृति विभाग के अंतर्गत (छत्तीसगढ़ शासन) 2007 में हुआ। 198 पेज की पुस्तक के संपादक मंडल में बबनप्रसाद मिश्र, पी. अशोक कुमार शर्मा और के.पी. सक्सेना ‘दूसरे‘ का नाम है तथा सहयोग में तुंगभद्र राठौर, डॉ. तपेश चन्द्र गुप्ता, संजय सिंह ठाकुर, हितेशकुमार साहू, अरविंद साहू, किशोर ठाकुर, रामेश्वर वैष्णव, हेमंत माहुलिकर, विकास जोशी, सतीश देशपांडे, सतीश मिश्र, विपीन पटेल हैं। 

इस पुस्तक के पेज-47 पर हमारे गौरव में 54 नामों की सूची इस प्रकार है- 
1) महाप्रभु वल्लभाचार्य, 2) गुरु घासीदास, 3) गोपालचन्द्र मिश्र, 4) माधवराव सप्रे, 5) बन्सीधर पाण्डे, 6) वीरनारायण सिंह, 7) पं. रविशंकर शुक्ल, 8) ठाकुर प्यारेलाल सिंह, 9) डॉ. खूबचन्द बघेल, 10) बैरिस्टर छेदीलाल, 11) पं. सुन्दरलाल शर्मा, 12) ठाकुर जगमोहन सिंह, 13) लोचनप्रसाद पाण्डेय, 14) पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी, 15) चन्दूलाल चन्द्राकर, 16) लाल प्रद्युम्न सिंह, 17) पं. सुन्दरलाल त्रिपाठी, 18) मुकुटधर पाण्डेय, 19) गजानंद माधव मुक्तिबोध, 20) बल्देवप्रसाद मिश्र, 21) बाबू रेवाराम, 22) राजा लक्ष्मी निधि राय, 23) पं. हीरालाल काव्योपाध्याय, 24) हरि ठाकुर, 25) लखनलाल गुप्ता, 26) नारायण लाल परमार, 27) जगन्नाथ प्रसाद भानु, 28) कोदूराम दलित, 29) डॉ. नरेन्द्र देव वर्मा, 30) पं. द्वारिकाप्रसाद तिवारी विप्र, 31) भगवती सेन, 32) बद्रीविशाल परमानंद, 33) मिनीमाता, 34) यति यतन लालजी, 35) महाराजा प्रवीरचंद, 36) पं. विष्णुकृष्ण जोशी, 37) दाऊ कल्याण सिंह, 38) महन्त लक्ष्मीनारायणदास, 39) महन्त वैष्णवदास, 40) धर्मदास, 41) स्वामी आत्मानंद, 42) समर बहादुर सिंह, 43) श्रीकांत वर्मा, 44) गुलशेर अहमद शानी, 45) डॉ. प्रमोद वर्मा, 46) मायाराम सुरजन, 47) देवदास बन्जारे, 48) डॉ. अरुणकुमार सेन, 49) रम्मू श्रीवास्तव, 50) स्व. राम चंद्र देशमुख 51) स्व. छेदीलाल पाण्डेय, 52) डॉ. हनुमन्त नायडू, 53) स्व. नंदूलाल चोटिया, 54) स्व. लतीफ घोंघी. 

इस पुस्तक में साहित्यकार शीर्षक अंतर्गत रायपुर के 266 नाम, भिलाई-दुर्ग के 181, राजनांदगांव के 45, महासमुंद के 31, पिथौरा के 6, महासमुंद के 22 नाम, धमतरी के 48, कबीरधाम के 11, कांकेर के 6, बिलासपुर के 92, जगदलपुर के 27, जांजगीर-चांपा के 26, कोरबा के 68, कोरिया के 7, अम्बिकापुर के 31, रायगढ़ के 56 तथा जशपुर के 5 नामों की सूची है। 

संगीत विधा शीर्षक अंतर्गत रायपुर, बिलासपुर और कोरबा के 12 नामें की सूची है। 

पत्रकारों की सूची अंतर्गत रायपुर के 105 नाम, पुनः 137 नाम हैं। एजेंसियां शीर्षक अंतर्गत 12 नाम, राष्ट्रीय समाचार पत्र में 11 नाम, प्रादेशिक समाचार पत्र में 10 नाम हैं। इलेक्ट्रानिक मीडिया के 33, प्रेस फोटोग्राफर- 21, कार्टूनिस्ट- 8 नाम हैं। बिलासपुर के पत्रकार शीर्षक अंतर्गत 218 नाम, मीडिया के 28 नाम हैं। रायगढ़ के पत्रकार में 17, जशपुर- 5, कवर्धा- 19, महासमुंद- 4, बागबाहरा महासमुंद- 7, भिलाई के 86, दुर्ग जिला के 43, तथा राजनांदगांव के 35 नाम हैं। बिलासपुर संवाददाता शीर्षक अंतर्गत के 13 नाम हैं। कोरबा जिले के पत्रकारों की सूची में 38 नाम, जांजगीर-चांपा समाचार पत्रों के प्रतिनिधि- 13, जिला जनसंपर्क कार्यालय जांजगीर-चांपा- 1, जिला मुख्यालय रायगढ़ स्थानीय दैनिक समाचार पत्रों के संपादक- 6, रायगढ़ में अन्य दैनिक समाचार पत्रों, एजेंसियों के प्रतिनिधि- 20, धमतरी जिला के पत्रकार-9, अम्बिकापुर जिला के पत्रकार-6, पिथौरा-5, सरायपाली-5 नाम हैं। 

शासकीय कार्यालयों में से जनसंपर्क संचालनालय-25 नाम, संचालनालय संस्कृति एवं पुरातत्व-11, छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल-9 नामों की सूची है। 

रंगमंच शीर्षक अंतर्गत 361 नाम, कलाकारों का नाम शीर्षक अंतर्गत 716 की सूची है। चित्रकारी शीर्षक अंतर्गत 19, राज्य के बाहर के प्रसिद्ध कलाकार में 48 नाम हैं। शिल्पकारों की सूची एवं पता शीर्षक में धातु शिल्प- 59, लौह शिल्प 45, पाषाण शिल्प 4/5, काष्ठ शिल्प 35, गोदना शिल्प 4, मृदा शिल्प 30, ढोकरा शिल्प 10 नाम हैं। 

पुस्तक के पेज 192 से 198 तक श्री पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी जी की भिलाई के सृजनपीठ केन्द्र में रखी प्रतिमा के तथा पीठ के आयोजनों के छायाचित्र हैं।

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थरहा, छत्तीसगढ़ की भाषा एवं संस्कृति की साहित्यिक धरोहर, संकलन नरेन्द्र वर्मा, (संपर्क फोन-9425518050) ऋषभ प्रकाशन, भाटापारा से 2014 में प्रकाशित हुई है। अपनी बात में लिखा है- 

‘इस दुष्कर कार्य में मुख्य प्रेरणा स्रोत रहे अग्रज श्री शिवरतन जी शर्मा विधायक भाटापारा एवं मेरे श्वसुर डॉ. टेकराम वर्मा। श्री रघुनाथ प्रसाद पटेल भाटापारा, श्री लूनेश वर्मा रायपुर, श्री रविन्द्र गिन्नौरे भाटापारा, श्री संजीव तिवारी दुर्ग, डॉ. बलदेव रायगढ़, श्री संतराम साहू भाटापारा, छत्तीसगढ़ राजभाषा आयोग के पूर्व अध्यक्ष पं. दानेश्वर शर्मा, सचिव पद्मश्री डॉ. सुरेन्द्र दुबे, श्री उमेश मिश्रा, श्री आदर्श दुबे, सुषमा गौराहा, श्री लामेश्वर उरांव, श्री लोकेन्द्र वर्मा, डॉ. विनय पाठक बिलासपुर, श्री चेतन भारती रायपुर, सुधा वर्मा रायपुर, नीलिमा साहू रायपुर, श्री महावीर अग्रवाल श्री प्रकाशन दुर्ग, श्री चन्द्रशेखर चकोर रायपुर, श्री हरिश्चंद्र वाद्यकार बिलासपुर, श्री बुधराम यादव बिलासपुर, श्री अरूण कुमार यदु बिलासपुर, श्री गिरधर गोपाल, देशबन्धु लायब्रेरी (मायाराम सुरजन फाऊंडेशन रायपुर द्वारा संचालित), पं. रविशंकर वि. वि. रायपुर के श्री अहमद अली खान, श्री भगवानी राम साहू सवपुर, श्री डी. पी. देशमुख दुर्ग, श्री संतोष कुमार चौबे मारो, श्री सुशील भोले रायपुर, श्री सुशील यदु रायपुर का पुस्तक निर्माण में सहयोग हेतु विशेष आभारी हूँ। डॉ. सुधीर पाठक अंबिकापुर, श्री मंगत रविन्द्र कापन, श्री हरिहर वैष्णव कोण्डागांव, श्री धनराज साहू बागबाहरा, श्री रामनाथ साहू देवरघटा (डभरा), आप सभी ने मुझे जानकारी उपलब्ध कराई, आप लोगों का विशेष धन्यवाद। समाचार पत्रों में देशबन्धु, नवभारत, दैनिक भास्कर, समवेत शिखर, हरिभूमि, पत्रिका, अमृतसंदेश, पत्रिकाओं में छत्तीसगढ़ी सेवक, छत्तीसगढ़ी लोकाक्षर, बरछा-बारी, वेव पत्रिका गुरतुर गोठ डॉट कॉम का भी विशेष आभारी हूँ। श्रीमती गीता-अनिल अग्रवाल, श्रीमती लक्ष्मी-रामकुमार स्वर्णकार, श्रीमती गीता-गजानंद सेलोटे, श्री अजय ‘‘अमृतांशु‘‘, माता श्रीमती इन्दु वर्मा, पिता श्री माधो प्रसाद वर्मा, पत्नी श्रीमती विद्या वर्मा (श्रीमती तीर्थ कुमारी वर्मा) बहन श्रीमती प्रमिला-गणेशराम वर्मा, बहन श्रीमती निर्मला-बृजराज वर्मा, अनुज श्री सुरेन्द्र दमयन्ती वर्मा, अनुज श्री विरेन्द्र-किरण मानसरोवर, सुपुत्र ऋषभ वर्मा, प्यारी बिटिया धात्री वर्मा, ओजस्विता वर्मा एवं इष्ट मित्रों का भी आभारी हूँ, जिनके सहयोग से इस पुस्तक ने मूर्त रूप लिया। 

प्रथम सूची, पुस्तकों के नाम हिन्दी वर्णक्रम के अनुसार, जिसके अंतर्गत क्रमांक 1 से 1543 तक, प्रकाशन वर्ष, पुस्तक का नाम, लेखक का नाम, प्रकाशक, मूल्य और पृष्ठ, स्तंभों में जानकारी संकलित की गई है। क्रमांक 1544 से 1558 तक डॉ. सुधीर पाठक, अम्बिकापुर द्वारा प्राप्त सरगुजिहा साहित्य सूची में हिन्दी पद्य साहित्य तथा 1559 से 1581 तक हिन्दी साहित्य गद्य संकलित है। 

द्वितीय सूची, साहित्य की विधाओं के अनुसार, जिसके अंतर्गत छत्तीसगढ़ी गद्य साहित्य के अंतर्गत छत्तीसगढ़ी निबंध संकलन- 18, छत्तीसगढ़ी नाटक- 35, छत्तीसगढ़ी एकांकी- 10, छत्तीसगढ़ी उपन्यास- 26, छत्तीसगढ़ी कहानी संग्रह- 49, छत्तीसगढ़ी लघु कथा संग्रह- 3, आत्मकथा- 1, संस्मरण- 2, व्याकरण- 16, छत्तीसगढ़ी शब्दकोश- 12, छत्तीसगढ़ी अनुवाद- 12, छत्तीसगढ़ी बाल साहित्य- 3, छत्तीसगढ़ी व्यंग्य- 9, छत्तीसगढ़ी हाना/कहावत/लोकोक्तियां- 10, छत्तीसगढ़ी मुहावरा कोश- 4, छत्तीसगढ़ी वर्ग पहेली- 1, छत्तीसगढ़ी चुटकुले- 1, चिकित्सा- 2, साहित्यकारों की डायरेक्टरी- 1 है। 

आगे छत्तीसगढ़ी पद्य साहित्य के अंतर्गत छत्तीसगढ़ी काव्य संग्रह- 261, छत्तीसगढ़ी खंड काव्य- 43, छत्तीसगढ़ी महाकाव्य- 3, छत्तीसगढ़ी भक्ति गीत- 26, छत्तीसगढ़ी काव्य नाटिका- 2, छत्तीसगढ़ी लंबी कविता- 6, छत्तीसगढ़ी नई कविता- 5, छत्तीसगढ़ी बाल साहित्य- 12, छत्तीसगढ़ी लोकगीत- 20, छत्तीसगढ़ी गजल- 5, छत्तीसगढ़ी हाइकु- 4, छत्तीसगढ़ी हास्य व्यंग्य पद्य- 8, लोकमंत्र- 1, छत्तीसगढ़ी अनुवाद- 34, छत्तीसगढ़ी चम्पू काव्य- 27, छत्तीसगढ़ी भाषा एवं उसका इतिहास- 19, हिन्दी- छत्तीसगढ़ी, गद्य-पद्य- 20, जीवनी/व्यक्तित्व एवं कृतित्व- 164, आत्मकथा- 3, संस्मरण- 1, लेख/निबंध संग्रह- 23, अभिनन्दन ग्रंथ- 11, शोधग्रंथ- 59, इतिहास- 74, भूगोल- 61, धार्मिक- 53, पुरातत्व- 13, स्थापत्य कला- 1, चित्रकथा हिन्दी- 23, लोक कथा- 30, दंत कथा- 1, साक्षात्कार- 1, पर्यटन- 17, लोक कला- 4, लोक खेल- 2, रंगमंच- 1, फिल्म- 1, कानून- 2, छत्तीसगढ़ की जानकारियां- 76, छत्तीसगढ़ की नदियां- 7, पहाड़- 1, पक्षी- 1, पत्र- 1, पुस्तकों की सूची- 2, छत्तीसगढ़ का एटलस- 2, अनुवाद- 2, समीक्षा- 3, लोक साहित्य- 9, स्मारिका- 6, अनुसूचित जाति एवं जनजातीय- 30, अंग्रेजी- 33, अन्य- 105 है। 

तृतीय सूची, साहित्यकारों के नाम अनुसार के अंतर्गत साहित्यकार के नामों के अनुसार पुस्तकों की सूची में 1 से 1545 तक, डॉ. सुधीर पाठक, अम्बिकापुर द्वारा प्राप्त सरगुजिहा साहित्य सूची में 1546 से 1583 तक, सरगुजा से प्रकाशित पत्रिकाएं 1 से 10, छत्तीसगढ़ से पूर्व एवं वर्तमान में प्रकाशित पत्रिकाएं 1 से 44 तक है। 

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कला परम्परा का सम्पादन डी पी देशमुख, भिलाई (संपर्क फोन-9407984727, 9425553536) द्वारा किया जाता है, इसके अंकों की जानकारी इस प्रकार है- 

कला परम्परा, छत्तीसगढ़ के छत्तीस रत्न, प्रवेशांक, 28 मई 2001, पेज-85 
कला परम्परा, साहित्य बिरादरी-1, अंक-2, वर्ष-2011 
कला परम्परा, कला बिरादरी-2, अंक-3, वर्ष-2012 
कला परम्परा, पर्यटन एवं तीरथधाम, अंक-4, वर्ष-2013, पेज-198 
कला परम्परा, साहित्य बिरादरी-2, अंक-5, वर्ष-2014, पेज-524 
कला परम्परा, छत्तीसगढ़ के तीज त्यौहार, अंक-6, वर्ष-2015, पेज-497 
कला परम्परा, कला एवं साहित्य बिरादरी-2, अंक-7, वर्ष-2017, पेज-558 
लोक नाट्य सुकवा, अंक-8, वर्ष- जुलाई 2017 
कला परम्परा, कला एवं साहित्य बिरादरी, अंक-9, वर्ष-2018, पेज-286 
लोक नाट्य चन्दा, अंक-10, वर्ष-2019, पेज-558 
पुरातत्व, पर्यटन एवं तीरथधाम, अप्रकाशित, अंक-11

 इनमें से प्रसंगानुकूल प्रवेशांक में 36 कलाकारों का सचित्र परिचय है, जिनमें क्रमानुसार नाम हैं- मंदराजी दाऊ, रामचन्द्र देशमुख, महासिंह चन्द्राकर, हबीब तनवीर, शरीफ मोहम्मद, मदन निषाद, रहीम खान अनजाना, झुमुक दास बघेल, न्याईक दास मानिकपुरी, खुमान साव, झाडूराम देवांगन, सुरुज बाई खांडे, लक्ष्मण मस्तुरिहा, तीजन बाई, शेख हुसेन, भुलवा राम यादव, गोविन्द राम निर्मलकर, फिदा बाई, माला बाई, कोदूराम वर्मा, प्रेम साइमन, रामहृदय तिवारी, देवदास बंजारे, पुनाराम निषाद, भैया लाल हेड़ऊ, शिवकुमार दीपक, केदार यादव, भूषण नेताम, रामाधार साहू, कविता वासनिक, दीपक चन्द्राकर, साधना यादव, कुलवंतीन बाई मिर्झा, पद्मावती, कुलेश्वर ताम्रकार, कमल नारायण सिन्हा। अंक के अंत में संपादकीय सहकर्मी मनोज अग्रवाल और सहदेव देशमुख का सचित्र संक्षिप्त परिचय है। 

कला परम्परा, साहित्य बिरादरी-1, अंक-2, वर्ष-2011 की प्रति उपलब्ध नहीं हो सकी, इसके बारे में जानकारी सम्पादक डी पी देशमुख जी से मिली। 

कला परम्परा, कला बिरादरी-2, अंक-3, वर्ष-2012 में लोककला, रंगमंच, सिने कलाकार- 438 नाम हैं। सुगम शास्त्रीय गीत, संगीत, नृत्य गजल-भजन गायन- 135 नाम हैं। चित्रकला, शिलपकला, हस्तशिल्प, फोटोग्राफी- 154 नाम हैं। बाल-कलाकारों के 91 नाम हैं। उल्लेखनीय कि इसमें नामों के साथ सचित्र संक्षिप्त परिचय भी दिया गया है। 
कला परम्परा, साहित्य बिरादरी-2, अंक-5, 1001 महानुभावों की सचित्र जानकारी का संग्रह है। इस पुस्तक में पेज 507 से 524 तक कला परम्परा-2 (साहित्य बिरादरी-1 वर्ष 2011) शीर्षक अंतर्गत 175 महानुभावों केनाम, डाक पता तथा फोन नंबर सहित दिया गया है। इसके बैक फ्लैप पर मनोज अग्रवाल, प्रधान संपादक और रश्मि पुरोहित, कार्यकारी संपादक नाम सचित्र परिचय दर्ज है। 

कला परम्परा, कला एवं साहित्य बिरादरी-2, अंक-7, वर्ष-2017 में कला एवं साहित्य साधक अंतर्गत 2222 महानुभावों की सचित्र जानकारी का समावेश है। साथ ही कला परम्परा के संयोजक शीर्षक अंतर्गत जिनके चित्र व नाम फोन नंबर सहित हैं- राजनांदगांव के श्री गोविंद साव, श्रीमती शैल किरण साहू, छुरिया के श्री शैल कुमार साहू, खैरागढ़ के डॉ. राजन यादव, गंडई पंडरिया के डॉ. पीसी लाल यादव, डोंगरगढ़ के श्री मनुराज त्रिवेदी, डोंगरगांव के श्री अजय उमरे, अम्बागढ़ चौकी के श्री कमलनारायण देशमुख, मोहला के श्री देव प्रसाद नेताम, मानपुर के श्री यशवंत रावटे, पंडरिया के श्री महेन्द्र देवांगन ‘माटी‘, कवर्धा के श्री कौशल साहू ‘लक्ष्य‘, गुंडरदेही के श्री दुष्यंत हरमुख, श्री पुनऊ राम साहू, बालोद के श्री सीताराम साहू ‘श्याम‘, बालोद के श्री जगदीश देशमुख, डौंडीलोहारा के श्री सुभाष बेलचंदन, दल्लीराजहरा के श्री परमानंद करियारे, धमतरी के श्री कान्हा कौशिक, नगरी के डॉ. आर.एस. बारले, मगरलोड के श्री पुनूराम साहू ‘राज‘, कुरुद के श्री इन्द्रजीत दादर ‘निशाचर‘, राजिम के श्री तुकाराम कंसारी, गरियाबंद के श्री गौकरण मानिकपुरी, डॉ. ईश्वर तारक, चारामा के श्री दिनेश वर्मा, भानुप्रतापपुर के श्री गनेश यदु, कांकेर के श्री अजय कुमार मंडावी, श्री राजेश मंडावी, कोन्डागांव के डॉ. राजाराम त्रिपाठी, जगदलपुर के डॉ. कौशलेन्द्र, श्री विजय सिंह, श्री भरत गंगादित्य, दन्तेवाड़ा की श्रीमती कंचन सहाय वर्मा, बचेली के श्री आशीष कुमार सिंह और किरन्दुल के श्री देवेन्द्र कुमार देशमुख। 

टीप- ऐसी समंकित सूची, जो समय-समय पर अद्यतन की जाती रहे, तैयार कर वेब पर सार्वजनिक किए जाने पर शासन, विश्वविद्यालय, सांस्कृतिक-साहित्यिक संस्थाएं विचार कर सकती हैं।